Motihari | Cyber Criminals|
साइबर थाना की सतर्कता-
मोतिहारी पुलिस ने पूर्वी चम्पारण के चकिया निवासी दिलशाद अहमद सहित 6 इंटर स्टेट साइबर अपराधियों को दबोचा है। ये फेसबुक पर फेक आईडी बनाकर, बिजली बिल अपडेट करने के नाम पर, लोन दिलाने की झांसा देकर तथा खुद को पुलिस बताकर “डिजिटल अरेस्ट” के नाम पर ठगी करते हैं।गिरफ्तार सभी अपराधी चकिया के बताए गये हैं।
इनके बैंक खातों से करोड़ों की लेनदेन-
जांच में खुलासा हुआ है कि इनके बैंक खातों से करोड़ों रुपये का लेनदेन की गयी है। अब तक इस गैंग में 12 साइबर अपराधियों की पहचान हो चुकी है। कुछ अभियुक्त राज्य से बाहर रहकर ठगी का पैसा अपने साथी के खाते में मंगवाते हैं।
छह साइबर अपराधियों को गिरफ्तार कर महत्वपूर्ण उपलब्धि हासिल की है। ये सभी अपराधी न केवल बिहार, बल्कि उत्तर प्रदेश, पंजाब, तेलंगाना और महाराष्ट्र जैसे राज्यों में भी साइबर ठगी में शामिल थे।
पुलिस अधीक्षक मोतिहारी के निर्देश पर साइबर थाना मोतिहारी लगातार साइबर ठगों पर निगरानी रख रही है। इसी क्रम में 17 अगस्त 2025 को एक संदिग्ध मोबाइल नंबर की जांच की गयी।
संदिग्ध मोबइल नम्बर पर हरदोई जिला, उत्तर प्रदेश से ₹1,75,000 की दो शिकायतें दर्ज थीं। पुलिस उपाधीक्षक-सह-थानाध्यक्ष मोतिहारी के नेतृत्व में त्वरित कार्रवाई करते हुए साइबर टीम ने 6 साइबर अपराधियों को गिरफ्तार किया।
साइबर ठगों की स्वीकारोक्ति-
गिरफ्तार अपराधियों ने पूछताछ में माना कि वे फेसबुक पर फेक आईडी बनाकर, बिजली बिल अपडेट करने के नाम पर, लोन दिलाने की झांसा देकर तथा खुद को पुलिस बताकर “डिजिटल अरेस्ट” के नाम पर ठगी कर रहे थे। जांच में उनके मोबाइल पर कई संदिग्ध खाते, एटीएम और यूपीआई लेन-देन पाए गए। इन पर विभिन्न राज्यों से शिकायतें दर्ज हैं। आरोपित व्हाट्सएप के जरिए भी पैसे लेन-देन और स्कैनर पर पैसे मांगकर फ्रॉड करते थे।
साइबर गैंग के इंटरनेट जाल की पोल खुली-
अब तक इस गैंग में 12 साइबर अपराधियों की पहचान हो चुकी है। कुछ आरोपी राज्य से बाहर रहकर ठगी का पैसा अपने साथी के खाते में मंगवाते थे और अलग-अलग तरीकों व CDM मशीनों से भेजते थे। इनके विरुद्ध मोतिहारी साइबर थाना ने कांड सं०-132/25, दिनांक 18.08.2025, धारा-319(2)/318(4)/338(3)/318(2)/61(2) BNS एवं 66(C)/66(D) IT Act के तहत प्राथमिकी दर्ज कर उन्हें न्यायिक हिरासत में भेजा गया है। अन्य आरोपियों की तलाश और छापामारी जारी है।
इस कार्रवाई की जानकारी देते हुए साइबर डीएसपी अभिनव पाराशर ने बताया:
“गिरफ्तार अपराधी फर्जी सोशल मीडिया अकाउंट बनाकर लोगों को ठगते थे। ठगे गए पैसों को अलग-अलग बैंक खातों के माध्यम से इधर-उधर किया जाता था।”
ठगी की शैली-
- फेसबुक पर फेक आईडी बनाकर
- बिजली बिल अपडेट करने के नाम पर ठगी
- लोन दिलाने का झांसा देकर ठगी
- पुलिस बनकर Digital Arrest के नाम पर साइबर अपराध
बरामदगी-
- 09 मोबाइल (घटना में प्रयुक्त नंबर सहित)
- 02 एटीएम कार्ड
- 02 बैंक पासबुक
- 03 बैंक चेकबुक
- 01 बायोमेट्रिक मशीन
- 01 QR स्कैनर मशीन
- विभिन्न बैंकों की डिजिटल डिटेल्स
गिरफ्तार अभियुक्त
- दिलशाद अहमद, शेखी चकिया, वार्ड नं-24, थाना-चकिया
- आसिफ जमाल, रामकरण पक्की, वार्ड नं-11, थाना-चकिया
- शिंभु तिवारी, चकिया वार्ड नं-07, थाना-चकिया
- संदीप कुमार, छप्पा छपरा, वार्ड नं-04, थाना-चकिया
- रवि रंजन कुमार, शिलपुर, वार्ड नं-07, थाना-चकिया
- इरशाद, शेखी चकिया, वार्ड नं-24, थाना-चकिया, सभी जिला-पूर्वी चंपारण, मोतिहारी
छापामारी टीम के सदस्य
- अभिषेक परासर (पुलिस उपाधीक्षक, साइबर थाना)
- पु०अ०नि० मुमताज आलम
- पु०अ०नि० राजीव कुमार सिन्हा
- पु०अ०नि० मनीष कुमार
- पु०अ०नि० नवीन कुमार
- पु०अ०नि० सौरभ आजाद
- पु०अ०नि० प्रियंका कुमारी, प्रियंका
- सिपाही-1164 आनंद कुमार भारती
- सिपाही-1054 नीरज कुमार
- सिपाही-1449 राकेश कुमार
- सिपाही-09 पीयूष कुमार
- चालक सिपाही-82 अजीत कुमार
- गृह रक्षक चालक-रामपरछबाल साह
- कार्यपालक सहायक अमित कुमार, साइबर थाना
साइबर थाना मोतिहारी की कार्रवाई से साइबर ठगी के बड़े गिरोह का पर्दाफाश हुआ है और आगे भी अन्य अभियुक्तों की गिरफ्तारी के लिए छापामारी जारी है।