सूचना पर बॉर्डर पर रोका गया संदिग्ध व्यक्ति
रक्सौल। अनिल कुमार।
एसएसबी 47वीं वाहिनी की एंटी ह्यूमन ट्रैफिकिंग टीम को गुप्त सूचना मिली थी कि एक व्यक्ति एक नाबालिग लड़की को भारत-नेपाल सीमा पार करवा रहा है। सूचना मिलते ही रक्सौल बॉर्डर पर टीम ने चेकिंग शुरू की। एक व्यक्ति के साथ एक लड़की को रोका गया और पूछताछ की गई, लेकिन दोनों संतोषजनक जवाब नहीं दे पाए।
काउंसिलिंग में सामने आया दोस्ती और बहकावे का सच
इसके बाद टीम ने “प्रयास जुवेनाइल एड सेंटर” पूर्वी चंपारण को सूचना दी और लड़की की काउंसिलिंग करवाई गई। काउंसिलिंग में लड़की ने बताया कि उसकी उम्र करीब 15 वर्ष है और वह पश्चिमी चंपारण जिले के नौतन थाना क्षेत्र की रहने वाली है।
लड़की ने बताया कि गांव के ही एक युवक से स्कूल आने-जाने के दौरान दोस्ती हो गई थी। वह युवक, जिसे लड़की ने “मनोज कुमार सिंह” (काल्पनिक नाम) बताया, ने उसे घरवालों से बिना बताए भाग चलने को कहा। 9 मई की रात करीब 10 बजे वह उसे रक्सौल बॉर्डर के रास्ते नेपाल ले जा रहा था। वहां शादी करने और नौकरी दिलाने का झांसा दिया गया था। लड़की को नहीं पता था कि नेपाल में उसे कहां ले जाया जा रहा है।
पहले से दर्ज है अपहरण की एफआईआर
एसएसबी टीम ने जब बच्ची के घरवालों से संपर्क किया तो उन्होंने बताया कि नौतन थाना में पहले ही अपहरण और गुमशुदगी की प्राथमिकी दर्ज है। इसका कांड संख्या 207/25 है।
बच्ची को बचाया गया, आरोपित पुलिस के हवाले
नौतन पुलिस के पहुंचने तक आरोपित व्यक्ति और नाबालिग लड़की को रक्सौल के हरैया थाना को सौंपा गया। वहां से आगे की कानूनी प्रक्रिया शुरू की गई।
कार्यवाही में शामिल रहे ये अधिकारी
इस पूरे अभियान में एंटी ह्यूमन ट्रैफिकिंग यूनिट के इंस्पेक्टर विकास कुमार, अरविंद द्विवेदी, नीतू कुमारी, सरिता और प्रयास जुवेनाइल एड सेंटर पूर्वी चंपारण से जिला परियोजना समन्वयक आरती कुमारी, सामाजिक कार्यकर्ता राज गुप्ता आदि शामिल रहे।
फोटो कैप्शन:
मानव तस्करी से नेपाल ले जाई जा रही नाबालिग लड़की को सुरक्षित रक्सौल बॉर्डर से बचाया गया।