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Wednesday, March 12, 2025
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कास्तकारों की आय दोगुनी करने को कृषि विज्ञान केंद्र माधोपुर में जुटे पुसा के वैज्ञानिक, शामिल हुईं महिला किसान भी

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कृषि मेला सह प्रदर्शनी में किसानों को उन्नत कृषि विधियों का दिया प्रशिक्षण

बेतिया (अवधेश कुमार शर्मा, देशवाणी):

किसानों की आय दोगुनी करने के उद्देश्य से पश्चिम चंपारण जिले के मझौलिया प्रखंड स्थित कृषि विज्ञान केंद्र, माधोपुर में पुसा के वैज्ञानिकगण पहुंचे हुए थें। इसके लिए यहां किसान मेला सह कृषि प्रदर्शनी 2025 आयोजित की गयी थी। जिसमें भारी संख्या में महिला किसान भी शामिल हुईं। इस प्रदर्शनी का मुख्य उद्देश्य किसानों को नवीनतम कृषि प्रौद्योगिकी से अवगत कराना था।

कृषि विज्ञान केंद्र, माधोपुर में जिला कृषि विभाग, बेतिया के सहयोग से किसान मेला सह कृषि प्रदर्शनी 2025 का आयोजन किया गया। कार्यक्रम का उद्घाटन जिला पदाधिकारी दिनेश कुमार राय ने दीप प्रज्वलित और फीता काटकर किया। उन्होंने उपस्थित किसानों को वैज्ञानिक पद्धति से खेती करने और उन्नत कृषि तकनीकों को अपनाने के लिए प्रेरित किया।

इस अवसर पर भारतीय कृषि अनुसंधान संस्थान (IARI) पूसा के निदेशक डॉ. के.के. सिंह, MGIFRI पिपराकोठी के निदेशक डॉ. एस.के. पूर्वे, अनुमंडल पदाधिकारी बेतिया, जिला कृषि पदाधिकारी, सहायक उद्यान पदाधिकारी, जिला मत्स्य पदाधिकारी, जिला पशुपालन पदाधिकारी सहित कई अधिकारी व सांसद प्रतिनिधि प्रदीप सर्राफ उपस्थित रहे।

किसानों को मिली आधुनिक खेती की जानकारी

जिला कृषि पदाधिकारी प्रवीण राय ने किसानों का स्वागत करते हुए कृषि विज्ञान केंद्र की उपलब्धियों और प्रदर्शित तकनीकों की जानकारी दी। उन्होंने बताया कि वैज्ञानिक पद्धति से खेती, उन्नत बीज, जैविक खेती, मशरूम उत्पादन, पशुपालन, मत्स्य पालन और कृषि यंत्रीकरण के माध्यम से किसानों की आय दोगुनी करने का लक्ष्य रखा गया है।

कार्यक्रम में कृषि विशेषज्ञों और वैज्ञानिकों ने किसानों को फसल प्रबंधन, मृदा जांच, जैविक खेती, बागवानी, मशरूम उत्पादन, पशुपालन और जलवायु अनुकूल कृषि पर विस्तृत जानकारी दी। इसके अलावा जैव उर्वरक उत्पादन, कृषि यंत्रीकरण और फसल अवशेष प्रबंधन के महत्व को भी समझाया गया।

कृषि प्रदर्शनी का आयोजन

इस अवसर पर कृषि प्रदर्शनी भी आयोजित की गई, जिसमें विभिन्न कृषि यंत्र, जैव उर्वरक, फसल बीज, कीटनाशक, जैविक उत्पाद, पशु आहार, मशरूम उत्पादन के नमूने, मधुमक्खी पालन के उपकरण और कृषि नवाचारों का प्रदर्शन किया गया। इस प्रदर्शनी का मुख्य उद्देश्य किसानों को नवीनतम कृषि प्रौद्योगिकी से अवगत कराना था।

डीएम ने की किसानों से अपील

मुख्य अतिथि जिला पदाधिकारी दिनेश कुमार राय ने किसानों को संबोधित करते हुए कहा कि पश्चिम चंपारण के किसानों के लिए यह मेला अत्यंत लाभकारी है। उन्होंने कहा कि कृषि विज्ञान केंद्र, माधोपुर और जिला कृषि विभाग के प्रयासों से किसान नई तकनीकों को अपना रहे हैं, जिससे उनकी आय में वृद्धि हो रही है। उन्होंने किसानों से कृषि विज्ञान केंद्र से जुड़ने और उन्नत कृषि तकनीकों को अपनाने की अपील की।

वैज्ञानिकों ने दिए महत्वपूर्ण सुझाव

  • IARI पूसा के निदेशक डॉ. के.के. सिंह ने जैविक खेती, फसल अवशेष प्रबंधन, कीट एवं रोग नियंत्रण और जलवायु अनुकूल कृषि को अपनाने का सुझाव दिया।
  • MGIFRI मोतिहारी के निदेशक डॉ. एस.के. पूर्वे ने मत्स्य पालन, जलाशय प्रबंधन और कृषि विविधीकरण के महत्व को बताया।

2,340 किसानों ने लिया भाग

कार्यक्रम के अंत में कृषि विज्ञान केंद्र, माधोपुर के वरिष्ठ वैज्ञानिक एवं अध्यक्ष डॉ. अभिषेक प्रताप सिंह ने सभी अतिथियों, किसानों और अधिकारियों का आभार व्यक्त किया। उन्होंने कहा कि कृषि विज्ञान केंद्र हमेशा किसानों के हित में कार्य करता रहेगा और उन्नत कृषि तकनीकों से उनकी आय दोगुनी करने के लिए प्रतिबद्ध रहेगा।

इस भव्य किसान मेला सह कृषि प्रदर्शनी में लगभग 2,340 किसान और महिला कृषक शामिल हुए और वैज्ञानिकों से आधुनिक कृषि तकनीकों की जानकारी प्राप्त की। कार्यक्रम के अंत में किसानों को तकनीकी पुस्तकें वितरित की गईं।

यह मेला कृषि विज्ञान केंद्र, माधोपुर और जिला कृषि कार्यालय, बेतिया के संयुक्त प्रयास से आयोजित किया गया, जो किसानों के लिए बेहद लाभकारी साबित होगा। भविष्य में भी इस प्रकार के आयोजनों से किसानों को नई तकनीकों की जानकारी मिलती रहेगी।

(अवधेश कुमार शर्मा, देश वाणी)

Pusa Scientists Gather at Krishi Vigyan Kendra Madhopur to Double Farmers’ Income, Women Farmers Also Participate

In an effort to double farmers’ income, scientists from Pusa arrived at Krishi Vigyan Kendra (KVK), Madhopur, located in Majholia block of West Champaran district. For this purpose, a Kisan Mela cum Agricultural Exhibition 2025 was organized, witnessing a large participation of women farmers as well. The primary objective of this exhibition was to familiarize farmers with the latest agricultural technologies.

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