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Friday, April 25, 2025
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रक्सौल के प्रतीक कुमार ने 4130 मीटर ऊँचा माउंट अन्नपूर्णा बेस कैम्प पर लहराया तिरंगा, अगला लक्ष्य एवरेस्ट चोटी

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रक्सौल के प्रतीक ने देश का नाम किया रोशन

रक्सौल (अनिल कुमार)। सीमाई शहर रक्सौल के पुराना एक्सचेंज रोड निवासी प्रभु शंकर प्रसाद के पुत्र प्रतीक कुमार ने नेपाल की दुर्गम चोटी माउंट अन्नपूर्णा बेस कैम्प (4130 मीटर) पर तिरंगा फहराकर न केवल शहर का, बल्कि देश का भी नाम रोशन किया है।
प्रतीक ने यह कठिन पर्वतारोहण मात्र तीन दिनों में पूरा किया और 12 अप्रैल 2025 को सुबह 11 बजे तिरंगा लहराया।


पर्वतारोहण की प्रेरणा और परिवार का साथ

चंडीगढ़ यूनिवर्सिटी से बी.बी.ए. की डिग्री प्राप्त कर चुके प्रतीक बचपन से ही पढ़ाई के साथ-साथ खेल और एडवेंचर में रुचि रखते हैं। पर्वतारोहण को लेकर उनकी गहरी जिज्ञासा थी।
उनके पिता प्रभु शंकर प्रसाद ने बेटे की भावना को समझा और उन्हें इस अभियान की अनुमति दी।


कठिन रास्ते, लेकिन मजबूत इरादे

प्रतीक ने बताया कि उन्होंने नेपाल के सहयोग से यह यात्रा पूरी की।
धान्द्रुकी (नेपाल) से चढ़ाई शुरू की, जहाँ उन्हें बारिश, बर्फबारी, पथरीले और संकीर्ण रास्तों से गुजरना पड़ा।
लेकिन जैसे-जैसे वह आगे बढ़ते गए, हर कठिनाई उनके हौसले को और मजबूत करती गई।


ये सिर्फ ट्रेक नहीं, एक जीवन पाठ था

प्रतीक ने बताया कि अन्नपूर्णा बेस कैम्प तक की यह यात्रा केवल एक शारीरिक चुनौती नहीं थी, बल्कि आत्मिक विकास और आत्म-खोज की अविस्मरणीय यात्रा थी।
हिमालय का अप्रत्याशित मौसम, बर्फबारी और तेज़ ठंड ने हर कदम पर उन्हें परीक्षा में डाला, लेकिन इसीने उन्हें धैर्य और लचीलापन सिखाया।


प्रेरणा: खुद को परखने की चाहत

प्रतीक ने कहा कि उन्होंने कई पर्वतारोहियों की कहानियां सुनी थीं, जिन्होंने अपने डर को हराया और असंभव को संभव किया।
इसी से उन्हें प्रेरणा मिली कि वह खुद को परखें और मानसिक अवरोधों को तोड़ें


तीन दिन की चढ़ाई, दो दिन की वापसी

उन्होंने पोखरा से गंड्रुक, झिनु, चोमरोंग, अपर सीनुवा, बांस, डोभन, देउराली, हिमालय और माछापुच्छ्रे बेस कैम्प होते हुए अन्नपूर्णा बेस कैम्प तक सफर तय किया।
यह चढ़ाई तीन दिन में पूरी हुई, जबकि वापसी में दो दिन लगे।


सिखाया वर्तमान में जीना

प्रतीक के अनुसार, पहाड़ों में हर पल शांति और एकांत का एहसास कराता है।
यह यात्रा उन्हें सिर्फ एक फिट शरीर ही नहीं, बल्कि नई सोच, आत्मबल और आत्मविश्वास भी देकर लौटी।


अब अगला लक्ष्य: माउंट एवरेस्ट बेस कैम्प

अन्नपूर्णा पर तिरंगा लहराने के बाद उत्साहित प्रतीक अब माउंट एवरेस्ट बेस कैम्प पर तिरंगा फहराने की योजना बना रहे हैं।
उनका कहना है कि जो भी ट्रेकिंग का सपना देख रहा है, उसके लिए यह आत्मिक विकास का सुनहरा अवसर है।


मिल रही हैं बधाइयाँ

प्रतीक के इस साहसिक कार्य पर उन्हें लगातार बधाइयाँ मिल रही हैं।
बधाई देने वालों में शामिल हैं:
गौरीशंकर प्रसाद, भरत प्रसाद गुप्त, शिवपूजन प्रसाद, रजनीश प्रियदर्शी, डॉ. राजेन्द्र प्रसाद सिंह, नारायण प्रसाद निराला, रमेश कुमार, अरूण कुमार गुप्ता, राजकुमार गुप्ता, ज्योतिराज गुप्ता, पूनम गुप्ता, मुरारी गुप्ता, सरोज गिरि, अशोक कुमार गुप्ता, राजकुमार रौनियार समेत नगर के कई गणमान्य लोग।


फोटो कैप्शन:
रक्सौल के लाल प्रतीक ने समुद्र तल से 4130 मीटर ऊँचे नेपाल के अन्नपूर्णा बेस कैम्प पर लहराया तिरंगा।


Motihari | Prateek Kumar from Raxaul hoisted the Tricolour at 4,130 meters high Mount Annapurna Base Camp; next goal – Mount Everest summit

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