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दीपों के त्योहार का शुभारम्भ
By Deshwani | Publish Date: 18/10/2017 12:06:48 PM
दीपों के त्योहार का शुभारम्भ

कोलकाता, (हि.स.)। दीपों का त्योहार यानि दीपावली गुरुवार को है। इसके लिए बुधवार सुबह से ही लोगों की भीड़ बाजारों में देखी जा रही है। लोग बड़े उत्साह के साथ बताशा, लड्डू, दीपक, पटाखे एवं अन्य पूजन सामग्री खरीदने में लगे हुए हैं। महानगर में दुर्गापूजा की तरह ही दीपावली भी धूमधाम से मनाई जाती है।
त्योहार के बीच संगीतकार अभिजीत के महानगर में आने की खबर है। वहीं इस अवसर पर चारों तरफ मां काली की आराधना करते हुए दशमहाविद्या की गूंज सुनने को मिल रही है। पूजा मण्डप सज गए हैं। एक ओर सूर्य की रोशनी में पूजा मण्डप चमक रहे हैं, वहीं शाम होते ही विद्युतीय बल्बों, साज-सज्जा के प्रकाश में पूजा-पंडालों की चमक बरकार हैं। हर जगह दर्शकों की भीड़ शाम होते ही देखने को मिल रही है।
पूजा के मद्देनजर दुर्घटनाओं के लिए पहले से ही कड़ी सुरक्षा बरती जा रही है। राज्य सरकार ने पूजा के दौरान किसी भी तरह की दुर्घटना से बचने के लिए तथा प्रदूषण रहित समाज के लिए पटाखों की आवाज 90 डेसिबल मात्रा तय कर दी है। सारा आतिशबाजी विकास समिति के चेयरमैन बाबला राय ने बताया कि हर साल की तरह इस वर्ष भी पटाखों की मांग बढ़ी है। बाजार में 150 से 3000 रुपये तक पटाखों की कीमत हो चुकी है। फूलझड़ी 10 से लेकर 300 रुपये तक में बिक रही है। कागज के बने डिजाइनों वाली साज-सज्जा की मालाओं की भी मांग तेज है।
बाबला राय ने बताया कि कागज की तुबड़ी एवं वॉटर प्रूफ रंगशॉल लोगों को उपहार के तौर पर दी जा रही है। उन्होंने बताया कि कई पटाखे ऐसे हैं जो पानी में गिरने के बाद भी असानी से नहीं बुझते, उसमें चिन्गारी रहती है। इस समय कागज की तुबड़ी इस्तेमाल की जा सकती है। वॉटर प्रूफ रंगशॉल के इस्तेमाल से आकाश में जलने वाले पटाखों के लिए किया जा सकता है। इस वॉटर प्रूफ रंगशॉल की विशेषता है कि बारिश में भी इसे पटाखों के साथ छोड़ा जा सकता है। इसके इस्तेमाल से बारिश में भी पटाखे आकाश में जलते रहते हैं।साथ ही बाजारों में ऊंचे दामों पर एलईडी चेन, एलईडी दीपक, मोम भरे दीपक की मांग बढ़ रही है। 
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