कानपुर, (हि.स.)। ऐतिहासिक ग्राउंड ग्रीन पार्क स्टेडियम में कल रविवार को भारतीय टीम जीत के लिए मैदान में उतरेगी। देश की आजादी के पांच साल बाद कानपुर के ग्रीनपार्क स्टेडियम में पहला टेस्ट क्रिकेट मैच खेला गया था। इसी मैच से ग्रीनपार्क को अन्तर्राष्ट्रीय पहचान मिली थी। लेकिन अपने स्वरूप पाने के लिए यानी डे-नाइट मैच के आयोजन में इसे छह दशक लग गये, जो 29 अक्टूबर को भारत व न्यूजीलैंड के खिलाफ मैच में पूरा होगा जायेगा।
अब तक हो चुके हैं 37 अन्तर्राष्ट्रीय क्रिकेट मैच
उत्तर प्रदेश के एकमात्र अन्तर्राष्ट्रीय क्रिकेट स्टेडियम ग्रीन पार्क में वर्ष 1952 से लेकर अब तक 37 अंतर्राष्ट्रीय मैच हो चुके हैं। लेकिन 29 अक्तूबर यहां पहली बार डे-नाइट वनडे आयोजन होगा। बताते चलें कि छह दशक से अधिक समय तक अंतर्राष्ट्रीय स्तर से लेकर घरेलू स्तर तक के मैचों का आयोजन कर चुके ग्रीन पार्क में बस एक ही कमी थी कि यहां अभी तक कभी भी डे-नाइट वनडे नहीं खेला गया था, जो रविवार को भारत-न्यूजीलैंड मैच के साथ पूरा हो जाएगा। गीन पार्क में वर्ष 1952 से लेकर अभी तक 22 टेस्ट, 14 वनडे और 1 टी-20 मैच हो चुके हैं। 1952 में ग्रीन पार्क को भारत और इंग्लैंड के बीच टेस्ट मैच से अंतर्राष्ट्रीय पहचान मिली।
इस मैच में विजय हजारे के नेतृत्व में अपने क्रिकेट करियर की शुरुआती दौर में भारतीय टीम भले ही इंग्लैंड के हाथों मैच हार गई। लेकिन उसने कानपुर को एक बेन्चमार्क जरूर दे दिया। उस समय से लेकर यहां भारत ने अभी तक कुल 22 टेस्ट मैच खेले हैं, जिसमें उसको सात में जीत व मात्र तीन में हार का सामना करना पड़ा है। बाकी के शेष मैच ड्रा रहे हैं। भारत को पहली जीत यहां वर्ष 1959 में आस्ट्रेलिया के खिलाफ मिली थी।
आखिरी टेस्ट यहां पिछले वर्ष न्यूजीलैंड के खिलाफ खेला गया था। यह मैच भारतीय इतिहास का 500वां टेस्ट भी था। इसमें भारतीय इतिहास के एक दर्जन पूर्व कप्तानों का भी भव्य स्वागत हुआ था। यह मैच भारत छह विकेट से जीता था।