राज्य
मध्यप्रदेश में अब तक रिलीज नहीं हुई फिल्म पद्मावत, पुलिस सतर्क
By Deshwani | Publish Date: 27/1/2018 3:00:20 PMभोपाल (हि.स.)। फिल्म पद्मावत को वैसे तो देश के कुछ हिस्सों में 25 जनवरी को रिलीज कर दिया गया, लेकिन करणी सेना व अन्य संगठनों के विरोधी रुख को देखते हुए मध्यप्रदेश, राजस्थान, गुजरात तथा गोवा में यह फिल्म रिलीज नहीं की गई। मध्यप्रदेश में शनिवार को भी फिल्म रिलीज नहीं हो पाई है। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के साथ फिल्म संगठनों के पदाधिकारियों की बैठक भी हुई, लेकिन कोई सहमति नहीं बन पाई। ऐसे में सुरक्षात्मक कारणों से फिल्म को रिलीज न करना ही ठीक समझा गया।
हालांकि प्रदेश के मुख्य सचिव बीपी सिंह ने स्पष्ट कहा कि प्रदेश में फिल्म रिलीज परकोई पाबंदी नहीं है तथा प्रदेश में जो फिल्म दिखाना चाहें वह दिखा सकते हैं। वहीं प्रदेश पुलिस पद्मावती फिल्म को रिलीज किये जाने की संभावना को ध्यान में रखते हुए काफी सतर्क व सक्रिय नजर आई। भोपाल में करणी सेना के पदाधिकारियों द्वारा फिल्म के विरोध में प्रदर्शन के दौरान जिस तरह से कार में आग लगा दी गई, उससे किसी भी अप्रिय घटना की आशंका के मद्देनजर पुलिस और भी खासा एहतियात बरतती हुई नजर आई। प्रदेश पुलिस द्वारा अभी भी स्थिति पर पूरी नजर रखी जा रही है।
जबलपुर के किसी भी मॉल में फिल्म पद्मावत न लगने के कारण करणी सेना, क्षत्रिय महासभा या किसी भी सामाजिक संगठन की तरफ से कोई भी प्रदर्शन या हंगामा नहीं हुआ। हालांकि पुलिस-प्रशासन सुबह से रात तक अलर्ट रहा। देर शाम पुलिस और प्रशासनिक अधिकारियों ने क्षत्रिय महासभा के प्रदेश महामंत्री ठाकुर शैलेन्द्र सिंह की अगुवाई में महासभा के पदाधिकारियों के साथ बैठक की। बैठक में कानून-व्यवस्था के मुद्दों को लेकर चर्चा हुई। क्षत्रिय महासभा के प्रदेश महामंत्री शैलेन्द्र सिंह का कहना है कि मॉल संचालकों ने क्षत्रिय समाज की भावनाओं का ध्यान रखते हुए फिल्म के प्रदर्शन पर स्वयं रोक लगा दी। समाज की तरफ से मॉल संचालकों को बधाई दी गई। इसी तरह पुलिस प्रशासन के निर्णय और बातचीत का स्वागत करते हुए भविष्य में कानून-व्यवस्था में सहयोग करने का वादा किया।
दूसरी तरफ हिन्दू सेवा परिषद् ने फिल्म पद्मावत के प्रदर्शन को लेकर सिनेमाघर और मॉल संचालकों को चेतावनी दी है कि भविष्य में फिल्म का प्रदर्शन किया गया तो उग्र आंदोलन किया जाएगा। इस मौके पर परिषद् के प्रदेश अध्यक्ष अतुल जेसवानी, निखिल कनौजिया, बबलू पटवा, धीरज ज्ञानचंदानी और अन्य कार्यकर्ता मौजूद रहे। प्रदेश के अन्य बड़े शहरों में भी फिल्म पद्मावत को लेकर यही स्थिति रही, जहां पुलिस किसी भी स्थिति से निपटने के लिये पूरी तरह तैयार नजर आई। साथ ही पुलिस द्वारा अभी भी इस बात की पूरी तैयारी की गई है कि अगर करणी सेना या पद्मावत विरोधी अन्य संगठनों ने अराजकता या उपद्रव फैलाने की कोशिश की तो उनसे सख्ती से निपटा जाएगा।