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रक्तदान पुनीत कार्य: राज्यपाल
By Deshwani | Publish Date: 14/6/2017 1:10:58 PM
रक्तदान पुनीत कार्य: राज्यपाल

 रायपुर, (हि.स.)। राज्यपाल बलरामजी दास टंडन ने अंतर्राष्ट्रीय रक्तदान दिवस के अवसर पर राज्य के आम नागरिकों से अधिक से अधिक संख्या में रक्तदान करने की अपील की है। उन्होंने रक्तदान दिवस के मौके पर सामाजिक संस्थाओं से रक्तदान के संबंध में चेतना बढ़ाने के साथ ही लोगों में इससे जुड़ी भ्रांतियों को भी दूर करने और रक्तदान शिविरों का आयोजन कर लोगों को विशेष कर युवाओं को रक्तदान के लिए प्रेरित करने का आग्रह किया है।

राज्यपाल टंडन ने कहा है कि विश्व स्वास्थ्य संगठन ने भी रक्तदान की महत्ता को देखते हुए वर्ष 2020 तक विश्वभर में सभी जरूरतमंदों को स्वैच्छिक रक्तदान के माध्यम से रक्त उपलब्ध कराने का लक्ष्य रखा है। इस लक्ष्य की पूर्ति तभी संभव हो सकेगी जब राज्य के सभी जागरूक नागरिक रक्तदान करेंगे। उन्होंने कहा है कि जब रक्त की जरूरत होती है तो देखा गया है कि ब्लड बैंकों में खून उपलब्ध नहीं रहता है, इससे मरीजों का जीवन कई बार खतरे में पड़ जाता है। इसलिए रक्तदान कर, रक्त को पहले से संग्रहित करके रखना बहुत जरूरी है, क्योंकि रक्तदान के जरिए ही रक्त की आपूर्ति की जा सकती है। रक्तदान करना एक पुनीत और परोपकारी कार्य है। एक व्यक्ति के रक्तदान करने से लगभग तीन लोगों की जिंदगी बचायी जा सकती है।
उल्लेखनीय है कि आमतौर पर कुछ लोग सोचते हैं कि रक्तदान करने से शरीर में कमजोरी आती है, जो कि बिल्कुल निराधार है। कोई भी स्वस्थ व्यक्ति जो 18 से 60 वर्ष के बीच का हो, जिसका वजन 50 किलो ग्राम से ज्यादा हो, उसके रक्त में हीमोग्लोबिन की पर्याप्त मात्रा होने पर वह एक बार में 450 मिली लीटर रक्त आसानी से दान कर सकता है। एक स्वस्थ पुरूष, साल में चार बार और एक महिला साल में तीन बार रक्त दान कर सकती हैं। रक्तदान करने से नए रक्त की कणिकाएं बनती हैं, जिनकी आक्सीजन वाहक क्षमता ज्यादा होती है। जिससे हमारी शारीरिक श्रम शक्ति बढ़ती है और रक्तदाता को किसी प्रकार की कमजोरी नहीं आती। 
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