लखनऊ, (हि.स.)। लखनऊ विश्वविद्यालय में बढ़ रही अराजकता को लेकर अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद (अभाविप) ने विश्वविद्यालय प्रशासन से कुलानुशासक तथा कुलसचिव को तत्काल हटाने की मांग की है।
बता दें कि अभाविप ने सात जून को विवि परिसर में मुख्यमंत्री के होने वाले कार्यक्रम के पूर्व विश्वविद्यालय गेट के सामने जिस प्रकार से कुछ छात्रों द्वारा उनकी सुरक्षा में सेंध लगाई गई और सूचना होने के बाद भी सारे तंत्र फेल नजर आए, उससे साबित होता है कि विश्वविद्यालय प्रशासन अराजकता को रोकने में अक्षम है। इसीलिए अभाविप ने कुलसचिव राजकुमार सिंह और कुलानुशासक विनोद सिंह को हटाने की मांग की है। इस मामले में परिषद कार्यकर्ताओं ने शनिवार को प्रतिकुलपति यूएन द्विवेदी को एक ज्ञापन भी सौंपा।
जिला संयोजक आशुतोष काशी ने कहा कि विवि में लगातार अनुशासनहीनता तथा आरजकता बढ़ रही है। विवि प्रशासन उसे ठीक करने में असमर्थ है। कुलानुशासक छात्रों से अभद्र व्यवहार कर रहे हैं। छात्रों और शिक्षकों का उनके द्वारा उत्पीड़न किया जा रहा है। परिषद उन्हें तत्काल उनके पद से हटाने की मांग करता है। विभाग संयोजक गौरव अवस्थी ने कहा कि विवि के रजिस्ट्रार राजकुमार को हटाते हुये शासन की तरफ से नियमावली के अनुसार रजिस्ट्रार की नियुक्त होनी चाहिए। इसके अलावा अभाविप ने बीए तृतीय वर्ष के छात्र-छात्राओं को बीएड में प्रोविजनली प्रवेश करने तथा 44000 छात्रों के भविष्य से खिलवाड़ न करने की मांग की। उनकी फीस वापस की जाए या फिर प्रवेश दिया जाना चाहिए।
अवस्थी ने कहा कि न्यू कैम्पस के मेन गेट का नाम किसी महापुरुष के नाम पर रखा जाये। विवि में कामन रूम की व्यवस्था हो तथा छात्र सहायता केन्द्र भी बनाया जाये। इस दौरान रजत, मानश, दिव्यांश, केवी, अभिषेक, उज्जवल, आदर्शन, नेहा सिंह, विनय विक्रम सिंह, विवेक सिंह मोनू, राजाराम, प्रशांत, हेमंत, नितीश, मृदुल, अनुराग,राहुल , सुमित, समेत अनेक छात्र-छात्राएं उपास्थित रहे।