बिहार
मिट्टी घोटाला: सुशील मोदी ने मुख्य सचिव की रिपोर्ट खारिज कर दिया निगरानी जांच का आदेश
By Deshwani | Publish Date: 24/10/2017 9:23:15 PMपटना, (हि.स.)। बिहार में जदयू-भाजपा की साझा सरकार ने मुख्य सचिव अंजनी कुमार सिंह की जांच रिपोर्ट को खारिज कर मिट्टी घोटाले की निगरानी जांच कराने का निर्णय लिया है। पिछले वर्ष तत्कालीन महागठबंधन सरकार में उप मुख्यमंत्री रहे लालू प्रसाद के छोटे बेटे तेजस्वी प्रसाद यादव के 750 करोड़ रुपये के निर्माणाधीन मॉल से निकली मिट्टी को खपाने के लिए बड़े बेटे एवं तत्कालीन वन एवं पर्यावरण मंत्री तेजप्रताप यादव के प्रशासनिक नियंत्रण वाले पटना के चिड़ियाखाना में फुटपाथ निर्माण की स्वीकृति दी गयी थी। मुख्य सचिव ने जांच कर कहा था कि इसमें कोई अनियमितता नहीं हुई है। सरकार के नये निर्णय से लालू के दोनों बेटों के साथ मुख्य सचिव और पटना चिड़ियाखाना के तत्कालीन निदेशक नंद किशोर भी निगरानी जांच के दायरे आयेंगे।
उप मुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी ने मंगलवार को यहां प्रेस कांफ्रेस में मिट्टी घोटाले की निगरानी जांच के सरकारी निर्णय की घोषणा की। पिछले वर्ष विधान परिषद में विपक्ष के नेता के रूप में उन्होंने मिट्टी घोटाले का पर्दाफाश कर इसको लेकर तेजप्रताप और तेजस्वी को मंत्रिमंडल से बाहर करने और व्यक्तिगत लाभ के लिए मंत्री के पद और प्रभाव का दुरुपयोग करने का मुकदमा चलाने की मांग की थी। मोदी वित्त एवं वाणिज्य के साथ वन एवं पर्यावरण विभाग के भी मंत्री हैं।
मोदी ने संबंधित संचिका के हवाले कहा कि पटना संजय गांधी जैविक उद्यान में फुटपाथ निर्माण संबंधी 9 अगस्त, 2016 का प्रस्ताव तेजस्वी के मॉल से मिट्टी की खुदाई के समय बना। मिट्टी खपाने के लिए इसकी खरीद में प्रथम दृष्टया कई विसंगतियां और अनियमितताएं पायी गयी हैं।