झारखंड
सरकार ने नौकरियों के लिये दरवाजा खोला : मुख्यमंत्री
By Deshwani | Publish Date: 20/7/2017 6:29:59 PMरांची, (हि.स.)। मुख्यमंत्री रघुवर दास ने कहा कि राजनीति अस्थिरता के कारण युआ अबतक नौकरी से वंचित रहे। हमारे युवाओं को 14 साल नौकरी के लिए लंबा इंतजार करना पड़ा। हमारी सरकार ने स्थानीय नीति तय कर नौकरियों के लिए दरवाजे खोले। लोगों ने भ्रम फैलाया कि इस नीति से बाहरी लोगों को नौकरियां मिलेंगी। लेकिन यह भ्रम भी टूट गया है। पिछेल ढाई वर्ष में एक लाख नियुक्तियां हुई हैं, जिनमें 90 प्रतिशत से ज्यादा नियुक्तियां झारखंडवासियों की हुई हैं। 2188 वन रक्षी नियुक्ति में भी 90 प्रतिशत से ज्यादा नौकरियां स्थानीय लोगों को मिली हैं। 148 महिलाएं को भी इसमें नौकरी दी गयी है। आनेवाले दिनों में बड़े पैमाने पर नियुक्तियां होंगी।
दास गुरुवार को डोरंडा स्थित वन भवन में वनरक्षियों को नियुक्ति पत्र वितरण करने के बाद बोल रहे थे। उन्होंने कहा कि झारखंड वन से अच्छादित प्रदेश है। हमें हरा भरा प्रदेश धरोहर के रूप में मिला है। आनेवाली पीढ़ी को भी हमें हरा भरा झारखंड देना है। इसके लिए जरूरी है वनों की सुरक्षा। इसके लिए झारखंड बनने के बाद पहली बार वनरक्षियों की नियुक्ति की गयी है। आज 2188 वनरक्षियों को राज्य के वनों की रक्षा की जिम्मेवारी सौंपी जा रही है। उनका कर्त्तव्य है कि वे ईमानदारी पूर्वक इस काम का निवर्हन करें। उन्होंने कहा कि हमारी सरकार का मानना है कि महिलाओं को साथ लिये बिना हम पूर्ण विकास की कल्पना नहीं कर सकते हैं। सरकार ने पुलिस में भी 33 प्रतिशत आरक्षण महिलाओं के लिए निर्धारित किया है।
उन्होंने अधिकारियों को निर्देश दिया कि वनों की सुरक्षा के लिए गांव में बनाये जाने वाले वन रक्षा समितियों में महिलाओं की भागीदारी सुनिश्चित करें। झारखंड में हमें 33 प्रतिशत के लक्ष्य को पूरा करना है। इसमें अधिकारियों के साथ-साथ आम लोगों की भागीदारी जरूरी है। इस साल जुलाई में सरकार ने पूरे राज्य में दो करोड़ पौधे लगाने का लक्ष्य रखा है। जनभागीदारी से ही इसमें सफलता मिल रही है। नवनियुक्त वनरक्षियों से उन्होंने कहा कि वह ईमानदारी पूर्वक अपना काम करें। इससे शांति और सुकून दोनों मिलेगा। माता-पिता के सपने को पूरा करने के साथ ही अच्छे नागरिक बनकर राज्य के विकास में सहयोगी बनें। पेड़-पौधे हमारे जीवन में काफी महत्वपूर्ण स्थान रखते हैं। इनका महत्व अध्यात्म से लेकर जीविका तक में है। अवैध कटाई के कारण पर्यावरण का संतुलन बिगड़ रहा है। हमें हर हाल में अवैध कटाई रोकनी है। सरकार इसमें सख्त है। इस अवसर पर अपर मुख्य सचिव अमित खरे, वन, पर्यावरण व जलवायु परिवर्तन विभाग के प्रधान सचिव इंदुशेखर चतुर्वेदी, पीसीसीएफ आरआर हेंब्रम और एलआर सिंह सहित अन्य लोग उपस्थित थे।