दरभंगा, (हि.स.)| ऑल इंडिया स्टूडेंट एसोसिएशन (आइसा) के तत्वावधान में एमएलएसएम, कॉलेज में ''चलो चले वर्ग की ओर'' व ''शिक्षा-बचाओ, देश -बचाओ'' अभियान के तहत मंगलवार को ''शिक्षा की गिरती स्थिति व छात्र-युवाओं की भूमिका' विषय पर सेमिनार का आयोजन किया गया। सेमिनार का संचालन आइसा के राज्य कार्यकारिणी सदस्य विशाल माझी ने किया। सेमिनार का उद्घाटन करते हुए रसायनशास्त्र विभागध्यक्ष डॉक्टर प्रेम मोहन मिश्रा ने कहा कि एमएलएसएम कॉलेज में शिक्षकों की कोई कमी नहीं है । इस कॉलेज को शिक्षा के स्तर पर मॉडल बनाया जा सकता है । उन्होंने कहा कि आइसा की वर्ग चलो अभियान इसको मुकाम तक पहुंचाएगा । यह अभियान सराहनीय है। यहां केवल गरीब, दलित-पिछड़ों, के बच्चे ही नहीं पढ़ते हैं, ब्लकि प्रोफेसर, डाक्टर, इंजीनियर जैसे समाज के प्रबुद्ध वर्ग के लोगों के बच्चे भी यहाँ पढ़ते हैं । लिहाजा 'शिक्षा-बचाओ, देश -बचाओ' अभियान इस दिशा में एक अच्छी पहल साबित होगी ।
सेमिनार को संबोधित करते हुए बतौर अतिथि पधारे प्रभारी प्राचार्य व कॉमर्स के विभागाध्यक्ष डॉक्टर नरेंद्र नारायण चौधरी ने 'चलो-चले अब वर्ग की ओर' अभियान की सराहना करते हुए कहा कि शिक्षित बनने से ही देश का विकास संभव है । यह एक अच्छी उपज है कि छात्र -शिक्षक एक दूसरे के सामने अपनी- अपनी समस्या रखते हैं और उसके निदान की ओर बढ़ते हैं। छात्र-शिक्षक कॉलेज में एक परिवार की तरह रहते हैं। जब छात्र वर्ग को चलेंगे तो निश्चित ही उनका विकास होगा और कॉलेज विकास की ओर बढ़ेगा ।
सेमिनार को संबोधित करते हुए प्रोफेसर अनिल कुमार झा ने कहा कि शिक्षा एक ऐसी चीज है जो कि बांटने पर बढ़ता है और नहीं बांटने पर खत्म हो जाता है। हम बहुत अच्छे शिक्षक हैं। लेकिन यदि हम पढ़ाते नहीं है तो अच्छे शिक्षक नहीं रह जाते हैं । इसलिए यह आवश्यक है कि आप क्लास आए और हम तमाम शिक्षक पढ़ाएं । आइसा के राज्य सह-सचिव संदीप कुमार चौधरी ने कहा कि केंद्र व राज्य सरकार का रुख उच्च शिक्षा और शोध के प्रति लगातार हमलावर रहा है। सभी विश्वविद्यालयों में सीट कटौती, फीस वृद्धि की जा रही है और आंदोलनकारी छात्रों को देशद्रोह के मुकदमे में फँसाया जाता है, जिसके खिलाफ आइसा का राष्ट्रीय अभियान 'शिक्षा-बचाओ, देश-बचाओ' पर बुकलेट का प्रकाशन किया गया है, जो मोदी सरकार की पोल खोलेगी।
सेमिनार में छात्रों ने भी अपनी क्लास से संबंधित विभिन्न समस्याओं को विस्तारपूर्वक रखा । साथ ही इसके निदान की दिशा में प्राचार्य से मिलकर प्रयास किए जाने का निर्णय लिया गया । सेमिनार शुरू होने से पूर्व 'जहां सोच पर कोई पहरा ना हो' बुकलेट का विमोचन किया गया। सेमिनार के बाद 13 सदस्यीय कॉलेज कमेटी का गठन भी किया गया, जिसमें विशाल मांझी को सचिव, मधु कुमारी को अध्यक्ष, सूरज कुमार झा को सह- सचिव, मनीषा कुमारी को उपाध्यक्ष चुना गया । कमेटी सदस्यों के रूप में रमन कुमार निराला, हेमंत कुमार, आदित्य वर्धन कश्यप ,प्रशांत कुमार, राज कुमार बैठा ,अजीत कुमार, ज्योति कुमारी ,लक्ष्मी कुमारी ,शमा परवीन को चुना गया । सेमिनार में आइसा के राज्य कार्यकारिणी सदस्य मनीष कुमार, राजू , प्रिंस कर्ण, मोहम्मद आमिर कैफी, मोहम्मद आमिर, अफजल अली ,पंकज कुमार पासवान सहित सैकड़ों छात्र -छात्रा शामिल हुए